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December 19, 2025

सड़क हादसों में जान बचाने वालों को प्रोत्साहन: ‘राहवीर योजना’ के तहत ₹25,000 इनाम का ऐलान !

The CSR Journal Magazine

 

डर के बिना आगे आएं नागरिक- नितिन गडकरी का प्रोत्साहन प्रयास! घायल को समय पर अस्पताल पहुंचाने पर नकद पुरस्कार, कानूनी सुरक्षा और ‘राहवीर’ सम्मान- सरकार देगी शुरुआती इलाज का खर्च !

नितिन गडकरी ने लॉन्च की ‘राहवीर योजना’, सड़क हादसों में जान बचाने वालों को मिलेगा ₹25,000 इनाम

देश में बढ़ती सड़क दुर्घटनाओं और समय पर इलाज न मिलने से होने वाली मौतों को कम करने के लिए केंद्र सरकार ने एक बड़ा और मानवीय कदम उठाया है। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने ‘राहवीर योजना’ का ऐलान करते हुए कहा कि अब सड़क हादसे में घायल व्यक्ति को अस्पताल पहुंचाने वाले नागरिकों को डर या झिझक के बिना मदद करने के लिए प्रोत्साहन मिलेगा। इस योजना के तहत मदद करने वाले को ₹25,000 का नकद इनाम, ‘राहवीर’ सम्मान और सरकारी प्रमाण पत्र दिया जाएगा।

इनाम बढ़ाकर 25,000 रुपये

पहले इस तरह की सहायता पर ₹5,000 का पुरस्कार मिलता था, जिसे 2025 से बढ़ाकर ₹25,000 कर दिया गया है। सरकार का मानना है कि अधिक प्रोत्साहन मिलने से लोग मौके पर पहले मददगार (First  Responder) की भूमिका निभाएंगे और एंबुलेंस या पुलिस का इंतजार किए बिना घायल को तुरंत अस्पताल पहुंचाएंगे।

साल में 5 बार तक इनाम+कानूनी डर से मुक्ति

योजना के अनुसार, एक व्यक्ति साल में अधिकतम 5 बार इस इनाम का हकदार हो सकता है। इसका उद्देश्य यह है कि बार-बार मदद करने वाले नागरिकों को भी सम्मान और सहयोग मिले, साथ ही व्यवस्था का दुरुपयोग न हो। ‘राहवीर योजना’ गुड समैरिटन (Good Samaritan) सिद्धांत पर आधारित है। इसके तहत सड़क हादसे में मदद करने वाले व्यक्ति को पुलिस पूछताछ, अदालतों के चक्कर या कानूनी परेशानियों से सुरक्षादी जाएगी। यानी मददगार को आरोपी या गवाह की तरह परेशान नहीं किया जाएगा, जब तक वह स्वयं ऐसा न चाहे।

इलाज का खर्च सरकार देगी

योजना की एक अहम कड़ी यह है कि घायल के पहले 7 दिनों के इलाज का खर्च सरकार अस्पताल को देगी। इससे अस्पतालों को भी बिना देरी के इलाज शुरू करने में सुविधा मिलेगी और पीड़ित परिवार पर तत्काल आर्थिक बोझ नहीं पड़ेगा।

सड़क हादसों की भयावह तस्वीर

सरकारी आंकड़े बताते हैं कि भारत में सड़क सुरक्षा एक गंभीर चुनौती बनी हुई है-
  • हर साल करीब 5 लाख सड़क दुर्घटनाएं होती हैं।
  • इनमें 1.5 से 1.8 लाख लोगों की मौत हो जाती है।
  • 66 फीसदी मृतक 18–34 वर्ष के युवा होते हैं।
  • विशेषज्ञों के अनुसार समय पर इलाज मिलने से हर साल करीब 50,000 जानें बचाई जा सकती हैं।

महाराष्ट्र- सड़क हादसों में मौत के आंकड़े

2024 का डेटा: महाराष्ट्र में 36,084 सड़क दुर्घटनाएं दर्ज हुईं। इन दुर्घटनाओं में 15,335 लोगों की मौत हुई।
2025 सितंबर तक– राज्य में 26,922 सड़क दुर्घटनाएं हुईं और 11,532 लोग मारे गए।

लगातार 6 वर्षों का कुल आंकड़ा (2019-सितंबर 2025)

जनवरी 2019 से सितंबर 2025 तक कुल 2,19,039 सड़क हादसे हुए। इन हादसों में 95,722 लोग जान गंवा चुके हैं। इसके अलावा 1,29,670 गंभीर रूप से घायल और 53,036 को हल्की चोटें आईं। महाराष्ट्र 2023 में राष्ट्रीय स्तर पर सड़क हादसा मृत्युओं में तीसरे सबसे ऊपर था। मौतों का एक बड़ा हिस्सा दोपहिया सवारों और राहगीरों में देखा गया है। सरकार का मानना है कि ‘राहवीर योजना’ जैसी पहल से गोल्डन ऑवर (दुर्घटना के बाद पहला महत्वपूर्ण समय) में इलाज संभव होगा।

दुर्घटनाएं रोकने के लिए अन्य ठोस कदम

केवल मदद ही नहीं, सरकार दुर्घटनाओं की संख्या घटाने पर भी जोर दे रही है-
  • देशभर में 7,000 ब्लैक स्पॉट (दुर्घटना संभावित क्षेत्र) सुधारे गए!
  • सड़क सुरक्षा सुधार के लिए ₹40,000 करोड़ की राशि स्वीकृत!
  • कारों में 6 एयरबैग अनिवार्य किए गए!
  • स्कूटर खरीद पर दो हेलमेट मुफ्त देने का प्रावधान, ताकि दोपहिया चालकों की सुरक्षा बढ़े।

‘राहवीर योजना’ समाज के लिए संदेश

‘राहवीर योजना’ सरकार और समाज के बीच भरोसे की एक नई कड़ी है। इसका संदेश साफ है- अगर आप किसी की जान बचाते हैं, तो देश आपके साथ खड़ा है। अब सड़क पर घायल देखकर पीछे हटने के बजाय आगे बढ़ने का समय है, क्योंकि आपकी एक त्वरित मदद किसी परिवार की पूरी दुनिया बचा सकती है।
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