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एकनाथ शिंदे दावोस रवाना, 1 लाख 40 हजार करोड़ का लाएंगे इंवेस्टमेंट

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इंडस्ट्रीज और इंवेस्टमेंट के मामले में समृद्ध महाराष्ट्र राज्य की मौजूदा सरकार पर विपक्ष आरोप लगा रहा है कि महाराष्ट्र से इंडस्ट्रीज और इंवेस्टमेंट लगातार पड़ोसी राज्यों में स्थानांतरित हो रहा है। विपक्ष के इस आरोप का जवाब महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे दावोस में होने वाले महाराष्ट्र राज्य में इंवेस्टमेंट करके दिखाने वाले है। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे अपने प्रतिनिधिमंडल के साथ स्विट्जरलैंड के दावोस में World Economic Forum के सम्मेलन में भाग लेने के लिए रवाना हो गए हैं। महाराष्ट्र सरकार की माने तो इस वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम में करीब 20 उद्योगों के साथ करीब 1 लाख 40 हजार करोड़ के करार होने वाले है।

सीएम एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में पहली बार होगा 1 लाख 40 हजार का इंवेस्टमेंट

अभी तक दावोस में इतने बड़े पैमाने पर महाराष्ट्र के एमओयू पहली बार हो रहे हैं। इसके अलावा बुनियादी ढांचे और अन्य महत्वपूर्ण क्षेत्रों में महाराष्ट्र की प्रगति के बारे में दुनिया भर के गणमान्य व्यक्तियों, निवेशकों और उद्योगों के प्रमुखों के साथ मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Maharashtra CM Eknath Shinde) बातचीत भी करेंगे। मुख्यमंत्री 16 व 17 जनवरी को सम्मेलन में शामिल होंगे। प्रतिनिधिमंडल में मुख्यमंत्री के साथ उद्योग मंत्री उदय सामंत और वरिष्ठ अधिकारी भी होंगे।  यह सम्मेलन 20 जनवरी तक चलेगा। महाराष्ट्र में नई सरकार के सत्ता में आने के बाद इंफ्रास्ट्रक्चर (Infrastructure in Maharashtra) सहित विभिन्न क्षेत्रों में बड़ी तेजी के साथ काम हो रहे है। विश्व स्तर पर महत्वपूर्ण इस सम्मेलन में इस बात पर ध्यान दिया जा रहा है कि मॅग्नेटिक महाराष्ट्र (Magnetic Maharashtra) की नई ताकतों को पूरी दुनिया जानने के बाद राज्य के प्रति दुनिया का आकर्षण कैसे बढ़ेगा।

सीएम एकनाथ शिंदे करेंगे 20 उद्योगों के साथ करार

मुख्यमंत्री 16 जनवरी सोमवार को दोपहर 1 बजे  महाराष्ट्र पवेलियन का उद्घाटन करेंगे। उसके बाद कुछ अहम उद्योगों के साथ एमओयू साइन किए जाएंगे। वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम के सेंटर फॉर न्यू इकोनॉमी एंड सोसाइटी एंड अर्बन ट्रांसफॉर्मेशन के प्रमुख भी मुख्यमंत्री से मुलाकात करेंगे। मंगलवार 17 जनवरी को, मुख्यमंत्री ने लक्जमबर्ग के प्रधानमंत्री, जॉर्डन के प्रधानमंत्री, सिंगापुर के सूचना और दूरसंचार मंत्री, बैंक ऑफ जापान, सऊदी अरब के उद्योग और खान मंत्री, स्विस भारत, चैंबर ऑफ कॉमर्स के साथ बैठक करेंगे। बाद में महाराष्ट्र पवेलियन में विभिन्न क्षेत्रों के नामी उद्योगों के साथ भी एमओयू साइन किए जाएंगे।
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे का संबोधन मंगलवार को दोपहर 3 बजकर 45 मिनट पर कांग्रेस केंद्र में होगा। इस अवसर पर वे शहरों के विकास के लिए बदलते परिवेश की चुनौतियों और पर्यावरण के अनुकूल शाश्वत विकास पर बात करेंगे। महाराष्ट्र की ओर से मंगलवार को रात 8 बजे भोज का आयोजन किया गया है और इसके लिए उद्योग, राजनीति और अन्य क्षेत्रों के 100 से 150 गणमान्य व्यक्तियों को आमंत्रित किया गया है जहां केंद्रीय मंत्री भी रहेंगे।

मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे World Economic Forum में पेश करेंगे महाराष्ट्र का विजन

कोरोना के चलते विश्व आर्थिक परिषद की पिछली दो बैठकें ऑनलाइन हुई थी। इस पृष्ठभूमि में अब होने वाली बैठक में उद्योग विभाग ने महाराष्ट्र की अच्छी छाप छोड़ने की सफलतापूर्वक तैयारी कर ली है। दावोस बैठक के लिए दुनिया भर से कई प्रतिनिधियों के इस मंडप में आने की उम्मीद है, जो पूरी दुनिया का ध्यान आकर्षित कर रहा है। इसमें महाराष्ट्र की प्रगति का अत्याधुनिक पद्धति से और प्रभावी रूप में प्रदर्शन किया जाएगा। जिसमें विशेष रूप में पिछले तीन से चार महीनों में, मेट्रो, कोस्टल रोड, एमटीएचएल, हिंदुहृदयसम्राट बालासाहेब ठाकरे महाराष्ट्र समृद्धि राजमार्ग, मुंबई पुणे मिसिंग लिंक के लिए सबसे बड़े टनेल के साथ-साथ सार्वजनिक परिवहन में इलेक्ट्रिक वाहनों का उपयोग, पर्यावरण संरक्षण के लिए उठाए गए कदम आदि को दिखाया जाएगा।

क्या है दावोस परिषद?

विश्व आर्थिक परिषद (वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम) एक निजी संगठन है। इसकी स्थापना वर्ष 1971 में हुई थी। इस संस्था का मुख्यालय स्विट्जरलैंड की राजधानी जेनेवा में है। इस संगठन को एक अंतरराष्ट्रीय संगठन के रूप में मान्यता प्राप्त है। इस संगठन का मिशन वैश्विक क्षेत्रीय और औद्योगिक विकास को बढ़ावा देने के लिए वैश्विक व्यापार, राजनीति, शिक्षा और अन्य क्षेत्रों के व्यक्तियों को एक साथ लाना है। विश्व आर्थिक परिषद द्वारा आमंत्रित लोग इसमें भाग ले सकते हैं।  इस सम्मेलन में लगभग 2500 लोग भाग लेते हैं। इसमें दुनिया भर के प्रमुख उद्योगपति, व्यवसायी और अर्थशास्त्री शामिल होते हैं। जहां महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे महाराष्ट्र का विजन पेश करेंगे।