Tata Capital IPO Listing पर निवेशकों को उम्मीद से कम मिला रिटर्न
टाटा ग्रुप की प्रमुख NBFC कंपनी Tata Capital आखिरकार 13 अक्टूबर 2025 को शेयर बाजार में लिस्ट हो गई। निवेशकों में इस लिस्टिंग को लेकर जबरदस्त उत्साह था, लेकिन अपेक्षित धमाका नहीं हुआ। कंपनी का शेयर 1.2 प्रतिशत प्रीमियम पर ₹330 के भाव पर BSE और NSE दोनों पर लिस्ट हुआ। हालांकि शुरुआती बढ़त के बाद स्टॉक ₹333 तक गया और फिर लाल निशान में फिसल गया। Tata Capital का ₹15,511.87 करोड़ रुपये का IPO निवेशकों के बीच खूब चर्चित रहा और इसे 1.96 गुना सब्सक्रिप्शन मिला था। अब लिस्टिंग के बाद बड़ा सवाल यह है कि निवेशकों को शेयर होल्ड करना चाहिए या मुनाफा बुक कर लेना चाहिए?
लंबे वक्त के निवेशक के लिए बढ़िया मौका
जानकारों का मानना है कि टाटा समूह के तहत Tata Capital की मजबूत ब्रांड वैल्यू, इसका डायवर्स बिजनेस मॉडल और रिटेल, कॉरपोरेट व हाउसिंग फाइनेंस सेगमेंट्स में गहरी मौजूदगी इसे भारत के वित्तीय सेवाओं के क्षेत्र में एक भरोसेमंद लॉन्ग टर्म इन्वेस्टमेंट बनाती है। भारत में बढ़ती क्रेडिट की मांग (Credit Demand), इकोनॉमिक फॉर्मलाइजेशन (Economic Formalisation) और SME Financing की जरूरतों को देखते हुए Tata Capital एक स्केलेबल और स्थिर विकल्प है। ऐसे में जिन्हें शेयर अलॉट हुए हैं, वे इसे लॉन्ग टर्म के लिए होल्ड करें। जिन निवेशकों को शेयर नहीं मिले, वे Wait & Watch Strategy अपनाएं और बड़ी गिरावट पर निवेश करने की सोचें।
Tata Capital IPO: अब तक का सबसे बड़ा ऑफर
यह 2025 का सबसे बड़ा IPO साबित हो सकता है। कंपनी का मार्केट कैप ₹1.40 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच गया है। जून 2025 तक Tata Capital के ग्रॉस लोन ₹2,33,400 करोड़ रुपये थे। यह देश की तीसरी सबसे बड़ी डायवर्सिफाइड NBFC है। कंपनी का फोकस मुख्य रूप से रिटेल और SME कस्टमर्स पर है, यानी कंपनी अब छोटे बिजनेस और व्यक्तिगत लोन सेक्टर में तेजी से विस्तार कर रही है। Tata Sons की सहायक कंपनी होने के चलते ब्रांड पर निवेशकों का भरोसा भी मजबूत है।
IPO से जुटाई रकम का इस्तेमाल
कंपनी ने अपने IPO के जरिए जुटाई गई रकम का उपयोग भविष्य की पूंजी जरूरतों (Capital Requirements) को पूरा करने के लिए करने की योजना बनाई है। इसमें लोन पोर्टफोलियो का विस्तार और उधारी बढ़ाना शामिल है। टाटा कैपिटल पहले से ही पर्सनल लोन, बिजनेस लोन, होम लोन, कार लोन और कॉरपोरेट फाइनेंस जैसे सेगमेंट्स में सक्रिय है। अब IPO के बाद कंपनी को अपने विस्तार के लिए और फंडिंग सपोर्ट मिलेगा।
Tata Capital Share Price Outlook: आगे क्या?
शेयर बाजार के विश्लेषकों का मानना है कि शुरुआती दिनों में Tata Capital का शेयर वोलाटाइल (Volatile) रह सकता है। लेकिन कंपनी की मजबूत बैलेंस शीट, लगातार बढ़ता लोन बुक और टाटा ब्रांड का भरोसा इसे लॉन्ग टर्म ग्रोथ स्टोरी बनाता है। जो निवेशक शॉर्ट टर्म गेन (Short Term Gain) की उम्मीद से आए थे, उनके लिए यह लिस्टिंग थोड़ा निराशाजनक हो सकती है, लेकिन लॉन्ग टर्म इन्वेस्टर्स (Long Term Investors) को इससे अच्छा फायदा मिल सकता है।
Bottom Line: निवेशकों को क्या करना चाहिए?
जिन्हें शेयर अलॉट हुए हैं: वे इसे कम से कम 1-2 साल के लिए होल्ड करें, क्योंकि आने वाले समय में NBFC सेक्टर में ग्रोथ के बड़े मौके हैं। जिन्हें शेयर नहीं मिले: फिलहाल रुकें और मार्केट को देखें, किसी बड़ी गिरावट पर खरीदने का मौका तलाशें। शॉर्ट टर्म ट्रेडर्स: उन्हें फिलहाल सावधानी से कदम बढ़ाना चाहिए, क्योंकि शुरुआती उतार-चढ़ाव में रिस्क अधिक है। Tata Capital की लिस्टिंग भले ही शानदार डेब्यू न रही हो, लेकिन ब्रांड की साख, बिजनेस डायवर्सिफिकेशन और NBFC सेक्टर में बढ़ते अवसर इसे भविष्य के लिए एक प्रॉमिसिंग स्टॉक बनाते हैं।