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किसानों की कर्जमाफी ही सत्ता की कुंजी है?
किसानों का कर्ज माफ़ करो और सत्ता की कुर्सी पर बैठो, इसी तरह की राजनीती देश में बरसों से हो रही है, इस कदम से ना देश का भला हुआ और ना ही लाभार्थी किसान का, चुनाव अभियान की शुरूआत करने के दौरान कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी ने अपने भाषण में कहा...
क्या राम मंदिर, गोकशी, जुमला, हनुमान की जाति ने बीजेपी की लुटिया डूबाई?
ठीक एक साल पहले राहुल गांधी की ताजपोशी हुई थी, राहुल गांधी को कांग्रेस का अध्यक्ष बनाया गया था लेकिन सही मायने में एक साल बाद चुनावी नतीजों ने राहुल गांधी के सिर पर ताज पहनाया है। हमेशा कांग्रेस पूछती कि कहाँ है अच्छे दिन, वाकई में चुनावी नतीजों ने कांग्रेस के अच्छे दिन...
सिटीजन सोशल रिस्पांसिबिलिटी से सुरक्षित होगा अपना देश
आज 26/11 है, मुंबई आतंकी हमले की दसवीं बरसी, देश नम आंखों से शहीदों को श्रद्धांजलि दे रहा है, मुंबई के तमाम ठिकानों पर जहां आतंकियों ने खून की होली खेली थी वहां मुंबईकर अपनों को याद कर रहे है, शहीदों को श्रद्धा सुमन अर्पित कर रहे है। 10 साल बीत गए, हर साल...
जानवर कौन? अवनि या हम
जानवर कौन ये सवाल इसलिए क्योंकि बाघिन अवनि की मौत हुई है, अवनि तो जानवर थी ही लेकिन उसे मौत के घाट उतारने वाला इंसान को क्यों ना जानवर कहा जाय, हवाला दिया जा रहा है बाघिन अवनि के नरभक्षी होने का, हवाला दिया जा रहा है 14 लोगों की मौत का जिसका कारण...
सीएसआर फंड का गड़बड़झाला, स्टेचू ऑफ़ यूनिटी में हुआ घोटाला?
जिस पटेल ने देश की आज़ादी के बाद सियासतों के बीच रियासतों को भारत का अभिन्न हिस्सा बनाया, जिसने एक श्रेष्ठ भारत का सपना दिखाया, जिसने देश को अखंड बनाया, ऐसे वीर सपूत प्रणेता सरदार पटेल को देश याद करते हुए उनके सम्मान में विश्व की सबसे बड़ा मूर्ति का निर्माण हुआ, लेकिन जो...
जिंदा है रावण
अमृतसर में रावण दहन हो रहा था, रावण को जलते देख खुश हो रहे थे, रावण का अहम जल रहा था, अहंकारी रावण राख हो रहा था, रावण की बुराइयों पर राम की अच्छाई जीत पा रही थी, रावण मर रहा था लेकिन इसी बीच ऐसा हादसा हुआ जो भुलाए नही भूलता, वो चीख़,...
भारत में तेजी से फैल रहा ‘मी टू’ कैंपेन, अब तक कई बड़ी हस्तियों के नाम आए सामने
हमारे देश की महिलाएं बोल रही है, मेरी बहने, मेरी माताएं, मेरी बेटी, मेरी दोस्त बोल रही है, आवाज़ उठा रही है, लड़ रही है, सामना कर रही है। लड़ाई उस मानसिकता से है, आवाज़ समाज की बुराईयों से, सामना उस परिस्थितियों से है जो ये समझ बैठा है कि हमारा समाज पुरुष प्रधान...
समाज सुधार के लिए कोर्ट के “सुप्रीम” फैसले
जब भी अन्याय की आंधी से किसी के उम्मीद का दीया बुझता है तो उसे सिर्फ एक ही आस होती है, न्याय की आस, उम्मीद फैसले की, शायद यही वजह है कि जब भी अन्याय के बादल मंडराते है जनता की जुबान पर एक ही बात होती है, "सुप्रीम कोर्ट तक लड़ूंगा", और न्याय...
CSR: जातियों की जंग
भारत बंद है, देश बंद है, बंद है कई प्रदेश, बंद है दुकानें, बंद है मकान, बंद है देश की आर्थिक व्यवस्था, आराजकता है, खौफ है, नफरत है, आग है, आगजनी है, हर तरफ जातियों की राजनीति ही ठनी है। जंग है एक समाज का दूसरे समाज से, एक सभ्यता का दूसरी सभ्यता से,...
CSR: आपके टॉयलेट के पानी से करोड़ों कमा रही है सरकार
पानी की एक बूंद की एहमियत प्यासे से बढियाँ और कौन बता सकता है, जल है तो कल है इस तरह की बातें हम हमेशा किताबों और सरकारी विज्ञापनों में जरूर सुनते और पढ़ते है लेकिन जब जल संरक्षण की बात आती है तो हम तनिक भी नहीं सोचते। कहते है बूँद बूँद से सागर...
केरल के क़यामत में देवदूत बने जवान
वो बिना थके, बिना रुके, बिना खुद की परवाह किये, बिना किसी भेदभाव के, बिना किसी सवाल के, बस आसमान से आते हैं और केरल बाढ़ में फंसे हुए लोगो को उठा ले जाते है। वो इंसान है लेकिन फिर भी वो मसीहा है, वो भगवान है, वो देवदूत है, वो हमारे देश के जवान...
क्या हमें पता है आजादी के मायने?
१५ अगस्त की सुबह रोहन स्कूल जाने के लिए बहुत उत्साहित था। सवेरे तैयार होकर स्कूल पंहुचा। प्रिंसीपल सर ने बड़ी शान से तिरंगा फहराया, सबने मिलकर राष्ट्रगीत गाया। आजादी के मतवाले शहीदों को श्रध्दांजली अर्पित की गई और नन्हा रोहन हाथ में तिरंगा लेकर घर लौटा। स्कूल में छुट्टी थी, पापा का दप्तर...