देश के कोने-कोने से लोग मुंबई के टाटा मेमोरियल हॉस्पिटल में कैंसर का इलाज करवाने के लिए आते है। लेकिन रहने की कोई ठीक व्यवस्था नहीं होने के नाते ये मरीज फुटपाथ पर गुजर-बसर करने के लिए मजबूर रहते है। एक तो कैंसर जैसी घातक बीमारी से ये लोग टूट जाते है, ऊपर से अव्यवस्थाओं की मार ने इन्हें और भी मजबूर कर देती है। तीमारदार तो तीमारदार मरीज भी हाथ में IV लगाए रास्ते पर ही इलाज भी करवाता है। अस्पताल के आसपास बने फुटपाथ इन मरीजों और उनके तीमारदारों के लिए उनकी दुनिया होती है। ये लोग यही सोते है, यही खाते है और यही रहते भी है। कई-कई ऐसे है जो साल साल भर से इसी फुटपाथ पर रह रहे है। जिस फुटपाथ पर कैंसर जैसी घातक बीमारी का इलाज कराने के लिए मरीज मजबूर है उसी फुटपाथ पर लाखों रुपये खर्च कर के सेफ्टी कर्ब स्टोन लगाए गए है। कहने के लिए तो स्टोन है लेकिन ये बना है प्लास्टिक से। एल एंड टी रियल्टी के सीएसआर पहल से मुंबई के परेल इलाके में LED युक्त सेफ्टी कर्ब स्टोन सौंदर्यीकरण और रोड सेफ्टी के लिए लगाए गए है।
सौंदर्यीकरण और रोड सेफ्टी के नाम पर L&T Realty ने CSR पहल से लगाए सेफ्टी कर्ब स्टोन
लेकिन अब इसको लेकर अब विवाद भी होने लगा है। दरअसल कॉर्पोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी (Corporate Social Responsibility) यानी सीएसआर की मदद से भी ये तस्वीर बदलने की कोशिश होती है। लेकिन सीएसआर (CSR) से सकारात्मक बदलाव की अपेक्षा रखने वाले जो एल एंड टी रियल्टी (L&T Realty) सीएसआर पहल के बेनिफिशियरी है अब वही लोग नाराज है और एल एंड टी रियल्टी के सीएसआर इनिशिएटिव (L&T Realty CSR Initiatives) पर सवाल खड़े कर रहे है। जिस फुटपाथ पर ये सेफ्टी कर्ब स्टोन लगाए गए है उसी फुटपाथ पर सोने वाले मरीज और तीमारदारों से जब The CSR Journal की टीम ने बात किया तो उनका कहना है कि “सीएसआर फंड का इस्तेमाल लोगों की जिंदगी में सकारात्मक बदलाव के लिए होनी चाहिए”। बिहार से अपने बेटे का इलाज करवाने आये रंजन कुमार का कहना है कि “यहां तीमारदारों के लिए व्यवस्थाएं जरुरी है ना कि इस तरह से पत्थर के ब्लॉक्स को हटाकर प्लास्टिक के ब्लॉक्स को लगाना”। सतीश कुमार का कहना है कि “CSR के काम पब्लिक वेलफेयर के लिए होता है ना कि इस तरह के सीएसआर जिनकी हालत अब खस्ता हो रही है”।
CSR पहल से लगे सेफ्टी कर्ब स्टोन टूटे, L&T Realty के सीएसआर पहल पर सवाल
The CSR Journal की टीम ने जब मौके का दौरा किया तो पाया कि सेफ्टी कर्ब स्टोन की हालत खस्ता हो रही है। सेफ्टी कर्ब स्टोन का उद्घाटन जनवरी महीने में किया गया लेकिन अप्रैल में अब ये टूटने लगा है और अगर इनका देखभाल नहीं किया गया तो आने वाले कुछ ही महीनों में ये टूटकर और भी ख़राब हो जायेगा। सेफ्टी कर्ब स्टोन और सीएसआर पहल को लेकर जब हमने एल एंड टी रियल्टी से सवाल किया तो उनका कहना था कि चौराहे और फुटपाथ पर रोड सेफ्टी को देखते हुए LED युक्तसेफ्टी कर्ब स्टोन लगाए गए है ताकि राहगीरों, महिलाओं और गाड़ी चलनेवालों को पर्याप्त रौशनी मिल सके, ताकि रौशनी के अभाव में एक्सीडेंट ना हो। जब हम रात में मौके पर गए तो पाया कि रास्ते और फुटपाथ पर बीएमसी की रोड लाइट की रौशनी में इलाका जगमगा रहा था। फूटपाथ पर सेफ्टी कर्ब स्टोन लगाने के बजाय अगर इसी फुटपाथ पर सोने वाले लोगों के लिए कुछ किया जाता तो शायद ज्यादा अच्छा होता इस सवाल पर एल एंड टी रियल्टी का कहना है कि जल्दी ही बैठने की सुविधा के लिए आवश्यक इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण और ऐसे मरीजों के लिए विश्राम स्थल का भी निर्माण कराया जायेगा। वैसे सीएसआर फंड्स का इस्तेमाल करने से पहले कॉरपोरेट्स को और ज्यादा जिम्मेदार होने की जरुरत है और फंड्स का इस्तेमाल सूझबूझ के साथ किया जाना चाहिए ताकि समाज में सीएसआर सकारात्मक बदलाव लेकर आये। ब्यूटीफिकेशन और रोड सेफ्टी के नाम पर सीएसआर फंड्स का इस्तेमाल करने से पहले L&T Realty को ऐसे कामों में CSR खर्च करना चाहिए जिससे मरीजों और उनके तीमारदारों के लिए कोई ठोस व्यवस्था हो सके। L&T Realty द्वारा CSR पहल हेल्थ और इंफ्रास्ट्रक्चर में किया जाए तो ज्यादा बेहतर होता।